करीब डेढ़ महीने पहले वैज्ञानिकों ने यह पता लगया था कि एक बड़ा उल्का पिंड पृथ्वी की ओर बढ़ रहा है। इस उल्का पिंड का नाम 1998 OR2 है और ये पर्वत के समान बड़ा बताया जा रहा है। वैज्ञानिकों के अनुसार ये उल्का पिंड पृथ्वी के बहुत समीप से होकर गुजरेगा और इसकी गति लगभग 19,000 कि. मी. प्रति घंटा होगी।
नासा के वैज्ञानिको के अनुसार ये उल्का पिंड सुबह 5:56 ईस्टर्न टाइम पे पृथ्वी के करीब से होकर गुजरेगा। अब ये अगले 24 घंटे (अप्रैल 29, 2020) में पृथ्वी के सबसे करीब होगा। लेकिन इस उल्का पिंड से ज्यादा खतरा नहीं बताया जा रहा। वैज्ञानिकों के अनुसार अगर इस उल्का पिंड ने थोड़ी सी भी दिशा परिवर्तन किया तो पूरे विश्व में बड़ा संकट आ सकता है। इसलिए वैज्ञानिक लगातार इसकी दिशा पर नजर लगाये हुए है ।
अंतरिक्ष के वैज्ञानिको के अनुसार तो इस प्रकार के उल्का पिंड की हर 100 साल में धरती से टकराने की 50,000 संभावनाएं होती है। हालाँकि कुछ मीटर व्यास वाले उल्का पिंड पृथ्वी के वायुमंडल में आते ही जल जाते है और उसके कुछ जले हुए टुकड़े ही पृथ्वी तक पहुँच पाते है जिनसे कोई नुकसान होने के सम्भावना नहीं होती।
इस उल्का पिंड का आकर पर्वत जितना बड़ा है और जिस गति से पृथ्वी की तरफ बढ़ रहा है, अगर ये थोड़ा सा भी पृथ्वी से टकराया तो बहुत बड़ी सुनामी आ सकती है।